राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली (Delhi) में 16 दिसंबर को एक हैरान करने वाली घटना सामने आई थी। दिल्ली में एक सरकारी महिला टीचर ने पांचवीं कक्षा की छात्रा पर कथित तौर पर पहले कैंची से हमला किया और फिर उसे स्कूल की पहली मंजिल से नीचे फेंक दिया। दिल्ली पुलिस ने कहा कि आरोपी टीचर को गिरफ्तार कर लिया गया है। रिपोर्ट के मुताबिक, आरोपी टीचर को एक दिन के रिमांड के बाद शनिवार (17 दिसंबर) को कोर्ट में पेश किया गया। इसके बाद कोर्ट ने आरोपी महिला टीचर को 20 दिसंबर तक के लिए रिमांड पर भेज दिया।
क्या है पूरा मामला?
पीड़ित छात्रा दिल्ली नगर निगम (MCD) स्कूल में पांचवी की स्टूडेंट है। स्कूली बच्चों से मिली जानकारी के मुताबिक, टीचर ने पहले पेपर काटने वाली धारदार कैंची से छात्रा को मारा था। फिर उनका गुस्सा इतना बढ़ गया था कि उसको पहली मंजिल से नीचे धक्का दे दिया। अधिकारियों ने कहा कि घायल छात्रा का इलाज हिंदू राव अस्पताल में किया जा रहा है और उसकी हालत खतरे से बाहर बताई जा रही है।
MCD के एक वरिष्ठ अधिकारी ने न्यूज एजेंसी पीटीआई से कहा कि तत्काल प्रभाव से आरोपी टीचर को निलंबित कर दिया है और आगे की जांच की जा रही है। इस घटना के बाद मध्य दिल्ली के मॉडल बस्ती इलाके में स्थित प्राइमरी स्कूल में बड़ी संख्या में लोगों की भीड़ एकत्र हो गई। अधिकारियों ने कहा कि पुलिस मौके पर पहुंची और हालात को काबू में किया। यह घटना सुबह करीब 11.15 बजे दिल्ली नगर निगम प्राथमिक विद्यालय (Delhi Nagar Nigam Prathmik Vidyalaya) में हुई।
कौन है आरोपी?
एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने PTI को बताया कि आरोपी टीचर की पहचान गीता देशवाल के रूप में हुई है, जिसने छात्रा पर एक कैंची से हमला किया और फिर उसे पहली मंजिल से नीचे फेंक दिया। इस दौरान एक अन्य टीचर रिया ने कथित तौर पर हस्तक्षेप करने की कोशिश की, लेकिन अपने सहयोगी को लड़की को नीचे फेंकने से रोकने में विफल रही। DCP (दिल्ली मध्य) श्वेता चौहान ने कहा कि प्रत्यक्षदर्शियों के बयान के आधार पर भारतीय दंड संहिता (IPC) की धारा 307 के तहत हत्या के प्रयास का मामला दर्ज किया जा रहा है। चौहान ने कहा कि घायल छात्रा को हिंदू राव अस्पताल में भर्ती कराया गया है। सीटी स्कैन समेत उसकी सभी जरूरी जांच की गई है। फिलहाल, छात्रा सुरक्षित है और उसकी हालत स्थिर है।
पिता का बयान
छात्रा के पिता ने घटना के अगले दिन 17 दिसंबर को पत्रकारों से बातचीत में कहा था कि उनकी बेटी चेहरे की हड्डी टूटने के कारण खाने या बोलने में असमर्थ है। छात्रा के पिता के मुताबिक, बच्ची के पैर और सिर के एक हिस्से में भी चोटें आई हैं। उन्होंने कहा कि वह कुछ भी खाने-पीने में असमर्थ है। डॉक्टर ने पहले हमें बताया था कि उसे आज छुट्टी दे दी जाएगी। लेकिन उन्होंने हमें सूचित किया कि उसे दो और दिनों तक निगरानी में रखा जाएगा।
उन्होंने टीचर के लिए कड़ी से कड़ी सजा की मांग करते हुए कहा था कि कोई एक बच्चे के साथ ऐसा व्यवहार कैसे कर सकता है। लड़की के पिता एक दिहाड़ी मजदूर हैं। उन्होंने कहा कि उन्हें स्कूल से एक कॉल की गई और बेटी की चोटों के बारे में बताया गया था। उन्होंने कहा कि जब हमें इस घटना के बारे में स्कूल से सूचना मिली तब मैं काम पर था। हम तुरंत स्कूल पहुंचे जहां हमें बताया गया कि उसे हिंदू राव अस्पताल में भर्ती कराया गया है। मैं वहां गया।
पिता ने कहा कि जब बेटी ने उन्हें देखी तो वह रो पड़ी और उसकी पत्नी बेहोश हो गई। उन्होंने कहा कि जब मैंने उसे देखा तो वह बोल नहीं पा रही थी, लेकिन वह रोने लगी। वहीं मेरी पत्नी बेहोश हो गई। उन्होंने कहा कि हम चाहते हैं कि टीचर को कड़ी से कड़ी सजा दी जाए। वह किसी भी बच्चे को नुकसान पहुंचा सकती थी। हम अपने बच्चों को पढ़ने के लिए भेजते हैं। वह अन्य छात्रों के साथ भी ऐसा ही कर सकती है। पुलिस के अनुसार, टीचर ने छात्रों के साथ खुद को एक क्लास के अंदर बंद कर लिया और छात्रा को पकड़ लेने तक हिंसक तरीके से उस पर पानी की बोतलें फेंकीं। इसके बाद उसने छात्रा के बाल काटे और उसे बालकनी से फेंक दिया।
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