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Home हिंदी कानून क्या कहता है

केरल के कोझीकोड जिले में पहले चाइल्ड फ्रेंडली फैमिली कोर्ट का हुआ उद्घाटन, जानें क्या है विशेषताएं

Team VFMI by Team VFMI
September 20, 2022
in कानून क्या कहता है, हिंदी
0
voiceformenindia.com

Kerala gets its first child-friendly Family Court in Kozhikode (Image: Bar and Bench)

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केरल के कोझीकोड जिले में बुधवार को पहले चाइल्ड फ्रेंडली फैमिली कोर्ट (child-friendly Family Court in Kozhikode) का उद्घाटन हुआ। कालीकट बार एसोसिएशन के अध्यक्ष वकील एमएस साजी की अध्यक्षता में एक कार्यक्रम में प्रिंसिपल डिस्ट्रिक्ट एंड सेशन कोर्ट के जज एस कृष्णकुमार ने चाइल्ड फ्रेंडली फैमिली कोर्ट का उद्घाटन किया। इस दौरान उन्होंने इसे ‘सपनों का घोंसला’ करार दिया।

बार एंड बेंच की एक रिपोर्ट के मुताबिक, नया कोझीकोड फैमिली कोर्ट (Kozhikode Family Court) कालीकट न्यायपालिका और कालीकट बार एसोसिएशन कमेटी, 2022 का एक ज्वाइंट वेंचर है।

केरल हाई कोर्ट ने दिया था निर्देश

यह केरल हाई कोर्ट (Kerala High Court) द्वारा सभी फैमिली कोर्टी में एक चाइल्ड फ्रेंडली रूम (Child-Friendly Rooms) स्थापित करने की संभावना पर विचार करने के तुरंत बाद स्थापित किया गया था, जो बहुत कम सुविधाओं के साथ काम कर रहे थे।

जस्टिस ए मोहम्मद मुस्ताक (Justices A Muhamed Mustaque) और जस्टिस सीएस डायस (Justices CS Dias) की खंडपीठ ने रजिस्ट्रार (जिला न्यायपालिका) से सभी फैमिली कोर्ट में समर्पित बच्चों के अनुकूल कमरे होने की संभावना के बारे में एक रिपोर्ट मांगी थी। केरल हाई कोर्ट के अलावा सुप्रीम कोर्ट ने भी फैमिली कोर्ट को बच्चों के अनुकूल बनाने की जरूरत पर भी जोर दिया था।

कैसा है चाइल्ड फ्रेंडली फैमिली कोर्ट?

नए अदालत परिसर को कस्टडी और वैवाहिक मामलों में शामिल बच्चों द्वारा अनुभव किए गए तनाव और आघात को कम करने के लिए डिजाइन किया गया है। कोर्ट में सुनील अशोकपुरम और निशा रवींद्रन जैसे कलाकारों की कृतियों को प्रदर्शित किया गया है। वकीलों द्वारा बच्चों को खेलने के लिए गुड़िया, खिलौने और खेल के अन्य सामग्री दान की गई।

अदालत के उद्घाटन से पहले कालीकट बार एसोसिएशन द्वारा जारी एक प्रेस विज्ञप्ति में सभी फैमिली कोर्ट को एक समान तरीके से परिवर्तित करने का आह्वान किया गया, ताकि बच्चों को फैमिली कोर्ट में आने के लिए निडर बनाया जा सके और एक आरामदायक स्थिति में कार्यवाही में भाग लिया जा सके।

इस साल जून में केरल में पहली पूरी तरह से बच्चों के अनुकूल पॉक्सो कोर्ट का उद्घाटन एर्नाकुलम जिला न्यायालय परिसर में किया गया था। नवनिर्मित पॉक्सो कोर्ट में कई विशेषताएं हैं, जैसे कि खेल के मैदान और अलग शौचालय और भोजन की सुविधा इत्यादी। ये सुविधाएं इसलिए दी गई हैं ताकि बच्चों को आराम से और सुरक्षित रूप से अपना बयान देने के लिए एक अधिक अनौपचारिक सेटिंग प्रदान की जा सके।

क्या तलाक के मामलों में बच्चों को अदालत में लाया जाना चाहिए?

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